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सोमवार, 22 मार्च 2021

एक लड़की सांवली सी

भोलीभाली और भली सी
एक सांचे में ढली सी
मुझे केरल में मिली थी ,
एक लड़की सांवली सी

उम्र के तूफ़ान में  थी
जवानी परवान पर थी
रूप था निशदिन निखरता
आ रही तन में सुगढ़ता
देख निज यौवन उभरता ,
हो रही कुछ बावली सी
एक लड़की सांवली सी

सोचती कुछ ,मुस्कराती
बिना मतलब खिलखिलाती
गाल पर गुलमोहर खिलते
पंखुड़ियों से होठ हिलते
मन तरंगित ,तन तरंगित ,
अधखिली कोई कली सी
एक लड़की सांवली सी

नयन सुन्दर ,चपल,चंचल
बदन पर टिकता न आँचल
अमलताशी हाथ पीले
हाव भाव  सब नशीले
प्यास तन मन की बुझाने ,
हो रही उतावली सी
एक लड़की सांवली सी

मदन मोहन बाहेती 'घोटू '

सोमवार, 15 मार्च 2021

New various bags from SMETA audited bags factory !

Dear bahetimmtara1:

  Good afternoon,how are you doing!

  This is bruce from Yiwu zhijian bags Co.,LTD which has passed SMETA(SEDEX 4 pillar) by BV, glad to meet you by this manner.

  Along with the new style bag as we developed,maybe you will interested in.here we attach their details to you as reference as following, any interested items,welcome to contact us any time.

  If you have any demands on the bags(handbag,tote bag, sling bag, backpack,cooler bag(thermo bags),travel bag,sport bag,foldable bag,etc),welcome to contact us any time. or visit our site and download the catalogue at: https://www.zj-bags.net/en/download.html




 


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मंगलवार, 9 मार्च 2021

एक लड़की सांवली सी

भोली भाली और भली सी
एक लड़की सांवली सी

उम्र के तूफ़ान में  थी
जवानी परवान पर थी
रूप था निशदिन निखरता
आ रही तन में सुगढ़ता
देख निज यौवन उभरता ,
हो रही कुछ बावली सी
एक लड़की सांवली सी

सोचती कुछ ,मुस्कराती
बिना मतलब खिलखिलाती
गाल पर गुलमोहर खिलते
पंखुड़ियों से होठ हिलते
मन तरंगित ,तन तरंगित ,
अधखिली कोई कली सी
एक लड़की सांवली सी

नयन सुन्दर ,चपल,चंचल
बदन पर टिकता न आँचल
अमलताशी हाथ पीले
हाव भाव  सब नशीले
प्यास तन मन की बुझाने ,
हो रही उतावली सी
एक लड़की सांवली सी

मदन मोहन बाहेती 'घोटू '
मैं  बहुत पिटा हूँ

बहुत खायी है मार वक़्त की , फिर भी हंसकर जीता हूँ  
मैं घिसा पिटा हूँ ,मैं बहुत पिटा हूँ

पाठ नहीं पढता स्कूल में ,करता था  अति  शैतानी
मास्टर साहब,पीटते छड़ीसे ,पड़ती मार मुझे खानी
घर में छोटे भाई बहन संग ,छेड़छाड़ करता झगड़ा
हुई शिकायत बाबूजी का ,पड़ता था झापट  तगड़ा
यार दोस्तों संग झगड़ों में ,बहुत गया मारा पीटा हूँ
मैं घिसा पिटा हूँ ,मैं बहुत पिटा हूँ

उमर बड़ी  ,कॉलेज गया मैं ,रंग जवानी का छाया
लड़की के संग ,छेड़छाड़ की ,बहुत उन्होंने पिटवाया  
सुन्दर ,कोमल कामनियाँ ,मैं जिन्हे चाहता था दिल से
मेरा मजनू पना उतारा ,उनने चप्पल  सेंडिल से
फिर भी उन  हसीन  चेहरों पर ,मरा मिटा हूँ
मैं घिसा पिटा हूँ मैं बहुत  पिटा हूँ
,
फंसा गृहस्थी चक्कर में फिर ,मैं कोल्हू का बैल बना
पिटना और पटाते रहना ,मेरा हर दिन खेल बना
रोज रोज बच्चों की मांगे पत्नीजी की फरमाइश
तो फिर मेरे ना  पिटने की ,कैसे रहती गुंजाइश
मैं शतरंजी ,पिटा पियादा ,खाली  जेबें , रीता हूँ
मैं घिसा पिटा हूँ मैं बहुत पिटा हूँ

मदन मोहन बाहेती 'घोटू '


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