गृह शांति
पत्नी मूड अगर हो बिगड़ा
नहीं चाहते घर में झगड़ा
पुरुषत्व पर तुम मत ऐंठो
बेहतर है चुप होकर बैठो
कुछ ही देर में देखोगे तुम
बदल जाएगा घर का मौसम
चार मिनट चुप्पी तुम्हारी
करती दूर मुसीबत सारी
भले तुम्हारी बात सही हो
पत्नी जी ही गलत रही हो
लेकिन उस क्षण में विवाद के
रहो सदा तुम मौन साध के
यदि कुछ बोला तो भुगतोगे
एक कहोगे, चार सुनोगे
पत्नी को यदि क्रोध आएगा
तो गृह युद्ध भड़क जाएगा
इसीलिए ऐसे अवसर पर
रक्षक होता मौन अधिकतर
धीरज अगर रखोगे कुछ क्षण
रह सकती गृह शांति कायम
मदन मोहन बाहेती घोटू