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मेरा काव्य-पिटारा
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शनिवार, 28 दिसंबर 2024
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दिव्य प्रेम १ दिव्यन और अनुष्का ,रहे प्रेम रस भीज दिव्य अणु है प्रेम का, इन दोनों के बीच इन दोनों के बीच , बंधा है बंधन ऐसा गहरा प्यार ,म...
बुधवार, 4 दिसंबर 2024
सपना
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गांव भरा था लोगों से। लहलहा रहे थे खेत। हर आंगन में गाय बंधी थी। बैल बंधे थे धवल सफेद। कुछ घरों में मुर्रा भैंसें। खड़ी हुई थी खाती घास...
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सोमवार, 25 नवंबर 2024
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ल वह बहन हमारी चली गयी जो सबकी बड़ी दुलारी थी हम भी बहन की प्यारी थी धार्मिक थी ,पर उपकारी थी वह बहन हमारी चली गयी थी समझदार,सुलझे...
गुरुवार, 29 अगस्त 2024
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मेरी बीबी, मेरी बीबी मेरी बीबी,मेरी बीबी, बड़ी ही प्यारी बीबी है मैं उसका प्यारा शौहर हूं यह मेरी खुशनसीबी है बड़ा ही स्वीट है नेचर मिलत...
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बुढ़ापे का कम्युनिकेशन इस बढ़ती हुई उम्र में यूं , कम हुआ हमारा कम्युनिकेशन कुछ गला हमारा बैठ गया , कुछ तुम भी ऊंचा सुनने लगे पहले जब भी ...
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