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शनिवार, 16 फ़रवरी 2013

भाग्य का आलेख

            भाग्य  का आलेख

कोई कितना भ्रमित करदे ,स्वप्न  सुनहरे दिखा कर
हमें बस मिलता वही है,लाये है जो हम लिखा   कर
भाग्य के आलेख को ,कोई बदल सकता नहीं है
लिखा है तकदीर में जो,हमें बस मिलता वही है 
हम कहाँ की सोचते है,पहुँचते है  कहाँ  जाकर
हमें बस मिलता वही है ,लाये हैं जो हम लिखा कर
कर्म निज करते रहें हम,स्वयं में विश्वास रख     कर
बढ़ें आगे ,लक्ष्य पाने ,धेर्य को निज,साथ रख कर
नियति अपने आप देगी,सफलताओं से मिला कर
हमें  बस मिलता वही है,लाये है जो भी लिखा कर
दिग्भ्रमित करने तुम्हारी,राह में अड़चन मिलेगी
कभी कांटे भी चुभेंगे , कभी ठोकर भी लगेगी   
अँधेरे में ,पथ प्रदर्शन,करे वो दिया  जलाकर
हमें बस मिलता वही है,लाये है,जो भी लिखाकर
भाग्य में यदि महाभारत ,लिखी है जो विधाता ने
कृष्ण खुद ही आयेंगे ,बन सारथी  ,रथ को चलाने
युद्ध में तुमको जिताएंगे  तुम्हारा हक दिला कर
हमें बस मिलता वही है ,लाये हैं हम जो लिखा कर

मदन मोहन बाहेती'घोटू'

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