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मेरा काव्य-पिटारा
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शनिवार, 29 मई 2021
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चार यार चार यार मिल बता रहे थे हाल-चाल अपना अपना उनकी परम प्यारी पत्नी उनका ख्याल रखे कितना पहला बोला मैं बेसब्रा हर एक काम की जल्दी थी म...
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शुक्रवार, 28 मई 2021
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तब और अब जितना प्यार कभी होता था उतने झगड़े तब होते थे अब तो मतलब से होते हैं ,पहले बेमतलब होते थे एक जमाना था तू और मैं ,मिल करके हम होत...
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जाने कहां गए वो दिन जब भी मुझे याद है आते वह भी क्या दिन थे मदमाते जिसे जवानी हम कहते थे नहीं किसी का डर चिंता थी एक दूजे के साथ प्यार...
गुरुवार, 27 मई 2021
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जाने कहां गए वो दिन जब भी मुझे याद है आते वह भी क्या दिन थे मदमाते जिसे जवानी हम कहते थे नहीं किसी का डर चिंता थी एक दूजे के साथ प्यार...
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बुधवार, 26 मई 2021
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घोटू के पद घोटू ,मैंने तय कर लीना सोच सदा 'पॉजिटिव ' रखना खुशहाली से जीना जल्दी उठ कर ,पानी ,नीबू शहद मिला कर पीना मीठा देख नहीं ल...
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